उत्तराखंड सरकार ने केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय की नई स्कूल बुक पॉलिसी को प्रदेश में लागू कर दिया है. बुधवार को केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय ने नई स्कूल बैग पॉलिसी जारी की ,अब स्कूली छात्रों को भारी भरकम बस्ता लेकर स्कूल नहीं जाना होगा ,आपको बता दें सभी जिलों के शिक्षा अधिकारियों को शिक्षा निदेशालय द्वारा निर्देश दिए गए हैं, सभी राज्यों को आगामी शिक्षा सत्र से केंद्रीय शिक्षा मंत्रालय की नई स्कूल बैग पॉलिसी को लागू करने के निर्देश दिए गए हैं, इन निर्देशों में स्कूल बैग का वजन 5 किलोग्राम से अधिक नहीं होना चाहिए सभी कक्षाओं के छात्र-छात्राओं के लिए स्कूल बैग का वजन निर्धारित कर दिया है |
प्री प्राइमरी कक्षाओं के बच्चे स्कूल बैग नहीं लेकर जाएंगे, पहली कक्षा के छात्रों के लिए केवल तीन किताबें ही अनिवार्य होगी, बारहवीं कक्षा के छात्र केवल 6 किताबें ही लेकर स्कूल जाएंगे |कक्षा दूसरी तक के लिए होमवर्क मुक्त होगा जबकि एक कक्षा 3 से 6 तक हर हफ्ते 2 घंटे का होमवर्क और कक्षा 6 से 8 तक के प्रति दिन 1 घंटे का होमवर्क दिया जाएगा और कक्षा 9 से 12वीं तक के लिए 2 घंटे तक होमवर्क दिया जा सकता है|
न्यू स्कूल बैग पॉलिसी के अनुसार पहली कक्षा के स्कूल बैग का वजन सिर्फ 2 किलोग्राम होना चाहिए , बारहवीं कक्षा के लिए बस्ते का वजन 5 किलोग्राम होना चाहिए साथ ही छात्रों के स्कूल बैग का वजन उनके वजन से 10% अधिक नहीं होना चाहिए | यह निर्णय इसलिए लिया गया है कि बच्चों को शिक्षा के साथ-साथ खेल और अन्य गतिविधियों से भी जोड़ा जाए इसके लिए न्यू स्कूल बैग पॉलिसी के तहत बसतो के वजन को घटाया गया है |
नई स्कूल बैक पॉलिसी के अनुसार प्रकाशकों को किताबों पर छापना होगा किताबों और नोटबुक का वजन | पहली कक्षा के छात्रों के लिए तीन किताबें और बारहवीं कक्षा के छात्रों के बीच में किताबें ले जाना अनिवार्य है इसमें लंच पानी की बोतल का वजन सब शामिल है | स्कूलों में ट्रॉली वाले बैग नहीं चलेंगे ट्रॉली वाले बैग के पहिए नुकसानदेह हो सकते हैं खासकर जब बच्चे सीढ़ियां चढ़ते हैं तो उस वक्त कोई भी हादसा हो सकता है इसलिए स्कूल में ट्रॉली बैग प्रतिबंध किए गए हैं |
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